नई दिल्ली || आज दिल्ली की राजनीतिक गलियारों में दिल्ली यूनिवर्सिटी के नवोदित नेता का नाम शुमार हो जाएगा।राष्ट्रीय राजधानी में आज दिल्ली विश्वविद्यालय छात्रसंघ चुनाव के लिए वोटिंग हो रही है। 52 कॉलेड के लगभग 1 लाख 43 हजार स्टूडेंट्स अपने मत का प्रयोग कर एक नई राजनीति की शुरूआत करने जा रहे है। छात्रसंघ चुनाव के लिए इस बार दिल्ली सरकार आम आदमी पार्टी विंग सीवाईएसएस चुनाव मैदान में नहीं उतरी है। एबीवीपी, एनएसयूआई और आइशा के बीच त्रिकोणीय मुकाबला है।
डूसू चुनाव के अंतिम समय में भी प्रत्याशी कोई कोर कसर नहीं छोड़ना चाहते। इसलिए वे तमाम कॉलेजों में घूम घूमकर अंत तक स्टूडेंट्स का अटेंशन पाना चाहते है। ताकि स्टूडेंट्स का उन्हें समर्थन प्राप्त हो। रामजस कॉलेज को छोड़कर अन्य सभी कॉलेजों में शांतिपूर्वक मतदान हो रहे है। जबकि रामजस कॉलेज में एनएसयूआई और एबीवीपी में हुई झड़प को रोकने के लिए पुलिस को बीच बचाव करना पड़ा।
झड़प उस समय शुरू हुई जब एनएसयूआई के सचिव पद के उम्मीदवार आशीष लांबा रामजस कॉलेज पहुंचे। लांबा अपने कुछ समर्थकों के साथ कॉलेज के भीतर दाखिल हो ही रहे थे कि बाहर खड़े एबीवीपी के समर्थकों ने हंगामा शुरू कर दिया। उनका आरोप था कि वे अपने साथ बाहरी लोगों को लेकर अंदर जा रहे हैं। इसी बात पर दोनों गुटों के बीच झड़प हुई और पुलिस को बीच-बचाव करना पड़ा।