प्रियंका चोपड़ा, राजकुमार राव और आदर्श गौरव के मुख्य भूमिका वाली फिल्म ‘द वाइट टाइगर’ काफी समय से चर्चा में है। इस फिल्म का इंतजार इसके ट्रेलर रिलीज होने के बाद से ही किया जा रहा था। फिल्म अरविंद अडिगा की इसी नाम से लिखी गई नॉवल की कहानी पर आधारित है। इसका डायरेक्शन अमेरिकन डायरेक्टर रामिन बहरानी ने किया है।
कहानी: बलराम हलवाई (आदर्श गौरव) एक गरीबी में पैदा हुआ बच्चा है जो भूख, दुख और मजबूरी का शिकार है। गरीबी के कारण उसकी पढ़ाई-लिखाई भी नहीं हो पाती लेकिन बलराम के सपने बहुत बड़े हैं। लक्ष्मणगढ़ नाम से गांव से निकलकर बलराम दिल्ली पहुंच जाता है। चाय की दुकान पर काम करने वाला बलराम कोयला खदान के मालिक (महेश मांजरेकर) के बेटे अशोक (राजकुमार राव) से प्रभावित है और उसका ड्राइवर बन जाता है। बलराम को लगता है कि अब उनकी गरीबी और परेशानियां खत्म हो जाएंगी।
रिव्यू: फिल्म का डायरेक्शन ईरानी-अमेरिकी मूल के डायरेक्टर रामिन बहरानी ने किया है। कई बार आपको लगता है कि फिल्म में जो इंडियन टच होना चाहिए वह नहीं है लेकिन फिर भी आदर्श गौरव का काम आपको इतना सोचने का मौका नहीं देता है। दरअसल आदर्श गौरव ने का काम इतना बेहतरीन है कि आप छोटी-मोटी गलतियों को माफ कर देते हैं।
राजकुमार राव की ऐक्टिंग भी अच्छी है। प्रियंका चोपड़ा का किरदार छोटा है लेकिन जितना है उसमें जंची हैं। आदर्श गौरव ने बलराम हलवाई के किरदार को बहुत मन से जिया है। यह फिल्म केवल और केवल आदर्श गौरव की कही जाए तो कम नहीं होगा। अगर अरविंद अडिगा की बुकर प्राइज जीत चुकी नॉवल ‘द वाइट टाइगर’ पढ़ी है तो आपको कहानी जरूर पता होगी मगर फिर भी यह फिल्म देखने लायक बन पड़ी है। फिल्म का टाइगर बलराम है और आदर्श गौरव इस टाइगर का किरदार आदर्श तरीके से निभाते हैं। हालांकि एक गरीब पिछड़े की भूमिका निभाते आदर्श गौरव का बीच-बीच में फर्राटेदार अंग्रेजी बोलना आपको अखर भी जाएगा। फिर भी फिल्म देखने लायक बनी है।